टप टप बारिश
कई दिनों से,
पात लगे पियाराने
अति शाय होना ठीक नहीं हैं
कहते है सायने ।
केवल रोपन हूं धान का
मूंग उड़द सब तरसे,
ज्वार बाजारे वंश चलने
को वाकुल हैं कब से,
डूब उनके वंश चलाने
धान धान्य क्या देगा,
कभी हुआ हैं
चना अकेले,
भाड़ क्या फोड़ लेगा
सोच रहा है,
घर का मुखिया
हाथ धरे सिरहा ने
Computational Biologist and bioinformatician